राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ यानी की आरएसएस ने देश के नाम भारत और इंडिया को चल रही बहस को लेकर बड़ा बयान दिया है। जहां राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने कहा है कि देश का नाम भारत है और इसे भारत ही रहना चाहिए। इसके साथ ही उन्होंने सनातन धर्म पर भी विवादित बयान देने वालों की कड़ी निंदा करते हुए उन पर पलटवार किया है। बता दें कि बीते कई दिनों से सनातन धर्म के साथ-साथ इंडिया और भारत के नाम को लेकर बहस छिड़ी हुई है। जहां राष्टीय स्वयंसेवक के संयुक्त महासचिव मनमोहन वैद्य ने इसको लेकर बयान देते हुए स्थिति सपष्ट कर दी है कि देश का नाम भारत ही रहना चाहिए।
प्राचीन काल से भारत रहा है लोकप्रिय नाम
राष्टीय स्वयं सेवक के संयुक्त महासचिव मनमोहन वैद्य ने देश के नाम को लेकर छिड़ रही बहस के बीच बड़ा बयान जारी करते हुए यह स्पष्ट किया है कि देश को भारत के नाम से ही जाना जाना चाहिए। उन्होंने राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की समन्वय समिति की तीन दिवसीय बैठक के समापन पर मीडिया से बात करते हुए कहां के प्राचीन काल से ही भारत नाम काफी लोकप्रिय नाम रहा है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि एक देश के दो नाम भी ठीक नहीं हैं, इसलिए देश का नाम भारत ही रहना चाहिए।
सनातन सभ्यता एक आध्यात्मिक लोकतंत्र है
देश के नाम के बाद जब राष्टीय स्वयं सेवक के संयुक्त महासचिव मनमोहन वैद्य से सनातन संस्कृति को लेकर सवाल पूछा गया, तो उन्होंने कहा कि सनातन धर्म का मतलब धर्म नहीं है, बल्कि सनातन धर्म एक आध्यात्मिक लोकतंत्र है। इसके बाद उन्होंने अपने बयान में सनातन पर विवादित बयान देने वालों पर पलटवार करते हुए कहा कि जो लोग सनातन के बारे में बयान देते हैं, उन्हें पहले इस शब्द का मतलब समझना चाहिए। दरअसल सनातन को लेकर बीते कई दिनों से कई विवादित बयान सामने आ रहे हैं।
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ हमेशा से खड़ा है सनातन के साथ
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ हमेशा से ही सनातन धर्म के साथ खड़ा हुआ दिखाई दिया है। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ अनेक बार सनातन धर्म पर विवादित बयान देने वालों पर पलटवार करते हुए तो दिखा की है। इसके साथ ही संघ ने सनातन धर्म का प्रचार प्रसार भी खूब किया है। राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ हमेशा से ही सनातन और देश के साथ खड़ा हुआ दिखाई दिया है।