लोक पहल जन मंच

खबरें देश की, विचार देश के

Generic selectors
Exact matches only
Search in title
Search in content
Post Type Selectors
post
Generic selectors
Exact matches only
Search in title
Search in content
Post Type Selectors
post
Generic selectors
Exact matches only
Search in title
Search in content
Post Type Selectors
post

आयुष्मान भारत योजना से मिलेगा 70 वर्ष या उससे ज्यादा उम्र के बुजुर्गों को लाभ

News Content

केंद्र की मोदी सरकार ने लोगों के सेहत से जुड़ी बड़ी घोषणा की है। बता दें की आयुष्मान भारत योजना के लाभ के दायरे को बढ़ा दिया गया है। अब इस योजना का लाभ 70 वर्ष से अधिक हर बुजुर्ग को मिलेगा। 2024 के लोकसभा चुनावों में भाजपा ने इस मुद्दे को अपने घोषणा पत्र में भी शामिल किया था। और अब कैबिनेट ने आयुष्मान भारत योजना के दायरे को बढ़ाने पर मुहर लगा दी है। इसका लक्ष्य छह करोड़ वरिष्ठ नागरिकों को पांच लाख रुपए तक का मुफ्त स्वास्थ्य बीमा कवर देना है।

आयुष्मान भारत योजना के तहत किन बीमारियों का होता है इलाज?

आयुष्मान भारत योजना के अंतर्गत आप कई बड़ी बीमारियों का इलाज करा सकते हैं। जिसके पास आयुष्मान कार्ड है तो वह कैंसर जैसी खतरनाक बीमारी का भी इलाज करा सकते हैं।इस योजना के तहत दिल और किडनी से जुड़ी गंभीर बीमारियों का भी इलाज किया जाता है। इसके अलावा कोरोना और मोतियाबिंद का भी इलाज आयुष्मान भारत योजना के अंतर्गत कराया जा सकता है। अगर आपका आयुष्मान भारत कार्ड बना हुआ है तो आप 29 हजार से ज्यादा लिस्टेड अस्पतालों में कैशलेस और पेपरलेस स्वास्थ्य सुविधाओं का लाभ ले सकते हैं।

कैसे बनवाए आयुष्मान भारत कार्ड?

अगर आप अपना आयुष्मान भारत कार्ड बनवाना चाहते हैं तो इसे बनवाने की प्रक्रिया काफी आसान है। इसमें आपको किसी भी प्रकार की दिक्कतों का सामना नहीं करना होगा। आप नजदीकी जनसेवा केंद्र पर जाकर आयुष्मान भारत योजना में आवेदन कर सकते हैं। इसके अलावा आप योजना के पोर्टल या आयुष्मान मित्र एप्लीकेशन की मदद से भी इस योजना में आवेदन कर सकते हैं।

आयुष्मान योजना के विस्तार को लागू करने पर कितना आएगा खर्च?

आयुष्मान भारत योजना पर सरकार शुरुआत में 3,437 करोड़ रुपए खर्च करेगी।हालांकि, जैसे-जैसे इस योजना की मांग बढ़ेगी यानी बुजुर्गों की संख्या बढ़ेगी, उसी अनुपात के अनुसार इस योजना का कवरेज भी बढ़ाया जाएगा। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार पहाड़ी और पूर्वोत्तर राज्यों में इस योजना का 90 प्रतिशत खर्च केंद्र सरकार उठाएगी। बाकी राज्यों में केंद्र 60 प्रतिशत खर्च उठाएगा और राज्य 40 प्रतिशत।

Facebook
Twitter
LinkedIn
Pinterest
Pocket
WhatsApp