उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आगामी धार्मिक त्योहारों से पहले कानून व्यवस्था को मजबूत करने के लिए विशेष समीक्षा बैठक की। उन्होंने अधिकारियों को कड़ी निगरानी रखने के निर्देश दिए और बकरीद के दौरान गाय, नीलगाय और ऊंट जैसे प्रतिबंधित जानवरों की कुर्बानी पर पूरी तरह प्रतिबंध लगाने की घोषणा की। साथ ही, मांस की खुली बिक्री पर भी पूरी तरह से रोक रहेगी।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश: प्रतिबंधित जानवरों की कुर्बानी पर रोक
उत्तर प्रदेश सरकार ने बकरीद से पहले सख्त कदम उठाते हुए गाय और ऊंट की कुर्बानी पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि इन प्रतिबंधित जानवरों की बलि देने पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। इसके अलावा, सार्वजनिक स्थानों पर नमाज़ अदा करने और कुर्बानी करने पर भी रोक लगाई गई है, जिससे सार्वजनिक व्यवस्था और स्वच्छता बनी रहे।
सिर्फ चिन्हित स्थानों पर ही कुर्बानी की अनुमति
सरकार ने आदेश दिया है कि कुर्बानी केवल पूर्व-निर्धारित और चिन्हित स्थानों पर ही की जाए। विवादित या संवेदनशील क्षेत्रों में कुर्बानी की अनुमति नहीं होगी। प्रत्येक जिले को यह सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है कि कुर्बानी के बाद अपशिष्ट का उचित निपटान हो, ताकि स्वच्छता और पर्यावरण की सुरक्षा बनी रहे।
उल्लंघन करने वालों के खिलाफ होगी सख्त कार्रवाई
संबल जिले के जिलाधिकारी राजेन्द्र पेंसिया ने बकरीद के दौरान सार्वजनिक स्थानों पर कुर्बानी करने पर प्रतिबंध लगाया है। उन्होंने चेतावनी दी है कि इस आदेश का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
धार्मिक स्थलों के पास मांस बिक्री पर रोक
उत्तर प्रदेश सरकार ने धार्मिक स्थलों के 500 मीटर के दायरे में मांस बिक्री पर प्रतिबंध लगाया है। यह कदम धार्मिक भावनाओं का सम्मान करने और सामाजिक सौहार्द बनाए रखने के उद्देश्य से उठाया गया है।
हिंडन एयरपोर्ट के पास मांस बिक्री और कुर्बानी पर प्रतिबंध की मांग
गाजियाबाद के लोन क्षेत्र के बीजेपी विधायक नंद किशोर गुर्जर ने हिंडन एयरपोर्ट के पास मांस की दुकानों और कुर्बानी पर प्रतिबंध लगाने की मांग की है। उन्होंने सुरक्षा कारणों और पक्षियों के टकराव की संभावना को ध्यान में रखते हुए यह अनुरोध किया है।
सामाजिक सौहार्द और कानून व्यवस्था बनाए रखने की पहल
उत्तर प्रदेश सरकार के ये कदम सामाजिक सौहार्द, धार्मिक भावनाओं का सम्मान और कानून व्यवस्था बनाए रखने के उद्देश्य से उठाए गए हैं। सरकार ने स्पष्ट किया है कि इन आदेशों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।



