लोक पहल जन मंच

खबरें देश की, विचार देश के

Generic selectors
Exact matches only
Search in title
Search in content
Post Type Selectors
post
Generic selectors
Exact matches only
Search in title
Search in content
Post Type Selectors
post
Generic selectors
Exact matches only
Search in title
Search in content
Post Type Selectors
post

आखिर महिला आरक्षण का सिर्फ दो सांसदों ने क्यों किया विरोध, ओवैसी के साथ ये नाम भी शामिल

News Content

संसद के नए भवन में आयोजित हुई विशेष सत्र की मीटिंग के दौरान महिला आरक्षण को लेकर पेश किया गया बिल पूर्ण बहुमत के साथ पास हो गया। जहां केंद्र की मोदी सरकार द्वारा इस बिल को नारी शक्ति वंदन विधेयक-2023 के रूप में प्रस्तुत किया गया। वहीं आपकी जानकारी के लिए बता दें कि लोकसभा में इस बिल को अपार बहुमत मिला है। लेकिन इस दौरान दो सांसदों ने इस बिल के विरोध में भी वोट किया है। जिसमें एआईएमआईएम के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी और उनकी ही पार्टी के एक सांसद इम्तियाज जलील भी शामिल हैं। 

आखिर क्यों किया इन दो सांसदों ने विरोध

लोकसभा में जैसे ही दो सांसदों ने महिला आरक्षण बिल के विरोध में वोट किया, तो यह फैसला चौंकाने वाला था, क्योंकि लोकसभा के अन्य सदस्यों ने इस पर सहमति जताई थी। जहां ओवैसी ने इस बिल के विरोध में वोट करने को लेकर बयान देते हुए कहा कि वे ओबीसी और मुस्लिम महिलाओं को आरक्षण में शामिल करने के लिए लड़ रहे हैं। इसके साथ ही वे बोले कि भारत में ओबीसी की आबादी 50 फीसदी से ज्यादा है, लेकिन लोकसभा में इनका प्रतिनिधित्व मात्र 22 फीसदी है। इतना ही नहीं ओवैसी ने आगे कहा कि भारत में मुस्लिम महिलाओं की आबादी 7 फीसदी है, जबकि लोकसभा में उनका प्रतिनिधित्व मात्र 0.7 फीसदी है। इसके बाद ओवैसी केंद्र की मोदी सरकार और इस बिल के समर्थन में वोट देने वालों से प्रश्न पूछते हुए कहने लगे कि आप ओबीसी और मुस्लिम महिलाओं को प्रतिनिधित्व नहीं देंगे?

बिल के पक्ष में पड़े रिकॉर्ड वोट

लोकसभा में भले ही महिला आरक्षण का विरोध दो सांसदों ने किया हो, लेकिन इसके पक्ष में पड़ने वाले वोटो की संख्या काफी ज्यादा है। बता दें कि नारी शक्ति वंदन विधेयक-2023 को जब केंद्र सरकार ने लोकसभा में पेश किया, तो इसको लेकर पक्ष और विपक्ष में काफी वाद- विवाद हुआ। हालांकि इसके बाद लोकसभा में पक्ष और विपक्ष दोनों ने मिलकर वोट दिया। जहां इस बिल के समर्थन में कुल 453 वोट पड़े। वहीं बिल के विरोध में मात्र 2 वोट पड़े।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी जताई थी खुशी

नई संसद भवन में जैसे ही महिला आरक्षण बिल पास हुआ तो या फिर नए संसद भवन में पास होने वाला पहला बिल बन गया। जहां पर के पास होने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक्स पर पोस्ट करते हुए कहा कि “मैं सभी पार्टियों के सांसदों को धन्यवाद देता हूं, जिन्होंने इस विधेयक के समर्थन में मतदान किया। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि नारी शक्ति वंदन अधिनियम एक ऐतिहासिक कानून है, जो महिला सशक्तिकरण को और बढ़ावा देगा और हमारी राजनीतिक प्रक्रिया में महिलाओं की और भी अधिक भागीदारी को सक्षम करेगा। हालांकि आपको बता दें कि अभी इस बिल को कानून बनने में काफी वक्त लगेगा। 

Facebook
Twitter
LinkedIn
Pinterest
Pocket
WhatsApp
Scroll to Top